भारत सरकार और डायरेक्ट सेलिंग

भारत में रोज़ नयी नयी कंपनियों के द्वारा बड़ते चिट फण्ड फ्रॉड को काबू के करने के लिए भारत सरकार तेज़ी से काम कर रही है, साथ ही साथ सभी डायरेक्ट कंपनियों को ऐसे कानून के अंतर्गत लाने पर विचार कर रही है | फाइनेंस मिनिस्ट्री के सीनियर ऑफिसर के द्वारा कहा गया कि हमने मल्टी लेवल मार्केटिंग के बिल को कैबिनेट को भेज दिया गया है और जल्दी ही इसके प्रति कोई कदम उठाया जायगा | जानकारी के अनुसार प्राइज चिट्स और पैसे को लेकर स्कीमो को भी घेरे में लिया जायगा और इनको बेनिंग एक्ट 1978 के तहत फाइनेंसियल डिपार्टमेंट के द्वारा बेन किया जा सकता है |

इस क़ानून के आने के बाद देश में जो फर्जी स्कीम्स और फ्रॉड बढ़ने का खतरा बढता जा रहा है शायद उस पर कुछ लगाम लगायी जा सके | और सरकार एक केंद्रीय संस्था भी बनाने पर विचार कर रही है जो देश में होने वाले इस तरह के केसेस पर काम करेगी | और साथ ही साथ डायरेक्ट सेलिंग के प्रति कुछ नियम भी डिफाइन किये जायेंगे | 2012 में हुए एक ऑनलाइन फ्रॉड, जो कि सिंगापुर की एक कम्पनी एमलम स्पीक एशिया ऑनलाइन के द्वारा किया गया था जिसमे बहुत कम समय में बहुत अच्छे रिटर्न के नाम पर धोखा किया गया था | ये केस रिज़र्व बैंक ऑफ़ india के द्वारा फाइनेंस मिनिस्ट्री को भेजा गया उसके बाद से भारत सरकार थोड़ी और सख्त हो गयी है ऐसी स्कीमो और कंपनियों के खिलाफ |

पिछले साल ही करेला पुलिस ने एमवे india के सीईओ विलियम एस पिंकनी और उसके 2 डायरेक्टर्स को चीटिंग के आरोप में गिरफ्तार किया था | ये केस pcmcs एक्ट के तहत रजिस्टर्ड किया गया और ऐसा ही एक केस saradha scam भी था | इसके बाद से जो कंपनियां डायरेक्ट सेलिंग के बिसनेस में है उनके द्वारा सरकार को कहा गया कि इस तरह की घटनाओं को रोकने के लिए सरकार को जल्दी ही कोई कदम उठाना चाहिए और कानून बनाने पर विचार करना चाहिए | 

इसके बाद से सरकार के द्वारा सभी राज्यों को सूचित कर दिया गया है कि इस तरह की कोई कंपनी को जो कि पैसे की घुमावदार स्कीमों से लोगो को लाभ देने की कोशिश कर रही है, ऐसी कंपनियों कर लगाम लगाना शुरू कर दीजिये |
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